संजीवनी बूटी, धरती की एक ऐसी अनमोल देन है जिसका सेवन कई गंभीर बीमारियों को दूर करने में कारगर साबित हुआ है। इसे भगवान का वरदान भी माना जाता है। आइए जानते हैं इस चमत्कारी जड़ी-बूटी के बारे में विस्तार से।
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संजीवनी बूटी के अद्भुत गुण
संजीवनी बूटी के बारे में बहुत कम लोग जानते हैं, लेकिन इसके फायदे अनेक हैं। इसे आयुर्वेद जैसी पारंपरिक भारतीय चिकित्सा पद्धतियों में यौन रोगों, कब्ज, कोलाइटिस, मूत्र मार्ग संक्रमण, बुखार, मिर्गी जैसी बीमारियों के इलाज के लिए अक्सर इस्तेमाल किया जाता रहा है। यही नहीं, ल्यूकोरिया, बेरीबेरी और कैंसर के उपचार में भी इसके उपयोग का वर्णन मिलता है। इसे हिमालय की द्रोणगिरी पर्वत श्रृंखला पर चीनी सीमा के पास पाया जाता है।
संजीवनी बूटी की खेती कैसे करें?
संजीवनी बूटी की खेती करने के लिए सबसे पहले इसके बीजों की जरूरत होती है। जैसा कि आप जानते हैं कि किसी भी चीज को उगाने के लिए बीज आवश्यक होते हैं, उसी तरह संजीवनी बूटी के पौधे को उगाने के लिए भी इसके बीज तैयार किए जाते हैं। इसके बाद 5 से 6 दिनों में संजीवनी बूटी आने लगती है।
संजीवनी बूटी की खेती से कितनी होगी कमाई?
अगर आप संजीवनी बूटी की खेती करके इसे बेचने का काम करते हैं तो इससे आप अच्छी खासी कमाई कर सकते हैं। संजीवनी बूटी की खेती आप एक से दो एकड़ जमीन में भी कर सकते हैं।